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भारतीय प्रशासनिक सेवा अधिकारी ज्ञानेश कुमार का जीवन परिचय
ज्ञानेश कुमार (Gyanesh kumar) ने अपना पहला 33 साल का जीवन उत्तर प्रदेश के आगरा में बिताया, इसके बाद वे जनवरी 1964 में भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) के 1988 के केरल कैडर से जुड़े। उनका सार्वजनिक सेवा में करियर अपने उच्चतम शिखर पर तब पहुँचा जब उन्होंने फरवरी 2025 में भारत के 26वें मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में कार्यभार संभाला, इसके पूर्व राजीव कुमार इस पद पर कार्यरत थे।
शैक्षिक पृष्ठभूमि
ज्ञानेश कुमार (Gyanesh kumar) का शैक्षिक अनुभव उत्कृष्टता से भरा रहा। उन्होंने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) कानपुर से सिविल इंजीनियरिंग में स्नातक (B.Tech) की डिग्री प्राप्त की। इसके बाद उन्होंने भारतीय चार्टर्ड फाइनेंशियल एनालिस्ट्स इंस्टीट्यूट (ICFAI) से बिजनेस फाइनेंस में शिक्षा ली और फिर हार्वर्ड विश्वविद्यालय, यूएसए के हार्वर्ड इंस्टीट्यूट फॉर इंटरनेशनल डेवलपमेंट (HIID) से पर्यावरणीय अर्थशास्त्र में अध्ययन किया।
व्यावसायिक करियर
IAS अधिकारी के रूप में कुमार ने कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया, जो उनके करियर की पहचान बने।
कुमार ने गृह मंत्रालय में मई 2016 से सितंबर 2018 तक संयुक्त सचिव के रूप में कार्य किया और फिर अप्रैल 2021 तक अतिरिक्त सचिव के पद पर कार्यरत रहे, जहाँ उन्होंने महत्वपूर्ण राष्ट्रीय मामलों में प्रमुख भूमिका निभाई। उनके नेतृत्व में अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 को समाप्त करने की प्रक्रिया की शुरुआत हुई, जिसके परिणामस्वरूप जम्मू और कश्मीर का पुनर्गठन हुआ।
कुमार ने मई 2021 से मई 2022 तक संसदीय कार्य मंत्रालय में सचिव के रूप में कार्य किया, जहाँ उन्होंने संसदीय कार्यों और गतिविधियों को समर्थन दिया।
कुमार को मई 2022 से जनवरी 2024 तक सहकारिता मंत्रालय में सचिव के पद पर कार्य करने का अवसर मिला, जहाँ उन्होंने सहकारी समितियों में सुधार लागू किए और उनकी कार्यक्षमता और पहुंच को बढ़ाया।
मार्च 2024 में वे चुनाव आयोग (ECI) के चुनाव आयुक्त बने। इस पद पर रहते हुए उन्होंने चुनावी पारदर्शिता और अखंडता सुनिश्चित करने के प्रति अपनी पूरी निष्ठा दिखाई।
मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में नियुक्ति
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी चयन समिति ने 17 फरवरी 2025 को ज्ञानेश कुमार को भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में नियुक्त किया। यह नियुक्ति राजीव कुमार के कार्यकाल के बाद हुई, जिनका कार्यकाल मई 2022 में समाप्त हुआ था। मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में कुमार आगामी वर्षों में महत्वपूर्ण चुनावों का नेतृत्व करेंगे, जिसमें 2026 में बिहार विधानसभा और पश्चिम बंगाल, असम, और तमिलनाडु राज्य चुनाव शामिल हैं।
योगदान और धरोहर
ज्ञानेश कुमार (Gyanesh kumar) ने सार्वजनिक सेवा में अपने करियर के दौरान कई महत्वपूर्ण पहचान प्राप्त की हैं। उन्होंने अयोध्या मंदिर मुद्दे में भाग लिया और अनुच्छेद 370 के निरसन में अहम भूमिका निभाई, जिससे राष्ट्रीय समस्याओं का समाधान किया।
मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में कुमार का कर्तव्य होगा चुनावी पारदर्शिता को बनाए रखना और स्वतंत्र और निष्पक्ष मतदान का संचालन करना। उनके नेतृत्व में चुनाव आयोग भारत के लोकतांत्रिक तंत्र को और सुदृढ़ करेगा।
ज्ञानेश कुमार ने एक इंजीनियरिंग स्नातक के रूप में अपना करियर शुरू किया और एक सार्वजनिक सेवक के रूप में राष्ट्रीय प्रगति में योगदान दिया। उनका गहरा ज्ञान और अनवरत समर्पण भारत की राजनीतिक और चुनावी प्रक्रिया को सही दिशा में मार्गदर्शन करता रहेगा।
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